51 Shakti Peeth List: कहते हैं कि देवी के 51 शक्ति पीठ जिन जगहों पर स्थापित हैं, वहां पर देवी सती के शरीर के अलग-अलग अंग गिरे थे। ऐसे में यहां जानिए 51 शक्ति पीठ के नाम और कहां गिरा कौन सा अंग
माता सती के 51 शक्तिपीठ कैसे बने?
पौराणिक कथाओं के अनुसार, भगवान शिव की पहली पत्नी माता सती के पिता दक्ष प्रजापति एक बार कनखल (हरिद्वार) में एक महायज्ञ कर रहे थे. उस महायज्ञ में ब्रह्मा, विष्णु, इंद्र और सभी देवी-देवताओं को आमंत्रित किया गया था, लेकिन दक्ष प्रजापति ने अपनी पुत्री माता सती के पति यानी भगवान शंकर से नाराजगी के कारण उन्हें आमत्रंण नहीं भेजा था. माता सती ने यज्ञ स्थल पर अपने पिता से जब भगवान शिव को न बुलाने का कारण पूछा तो दक्ष प्रजापति ने भगवान शंकर को लेकर अपशब्द कहे. अपने पति के इस अपमान से क्रोधित होकर माता सती ने उसी यज्ञ कुंड में अपने प्राणों का आहुति दे दी.
भगवान शिव शंकर को जब इस बात की जानकारी मिली तो वे क्रोधित हो उठे और क्रोध में उनका तीसरा नेत्र खुल गया और वे माता सती के शरीर को उठाकर तांडव करने लगें. भगवान शिव के क्रोध भरे तांडव पर पृथ्वी पर प्रलय का खतरा बढ़ने लगा, जिसे रोकने के लिए भगवान विष्णु ने अपने सुदर्शन चक्र से मां सती के शरीर को खंड-खंड कर दिया. इसके बाद देवी सती के शरीर के हिस्से धरती पर जहां-जहां गिरे, वहां एक शक्तिपीठ की स्थापना हुई. ऐसे कुल 51 शक्तिपीठों का निर्माण हुआ.
यहां देखिए 51 शक्ति पीठों के नाम और कहां गिरा कौन सा अंग
1) अमरनाथ, जम्मू कश्मीर- गला
2) ज्वाला देवी, कांगड़ा- जीभ
3) कात्यायनी, मथुरा- बाल
4) विशालक्षी, वाराणसी- कुंडल
5) ललिता, प्रयागराज- उंगलियां
6) त्रिपुरमालिनी, जलंधर- लेफ्ट ब्रेस्ट
7) सावित्री, कुरुक्षेत्र- सीधे पैर का टखना
8) मगध, पटना- शरीर का दाहिना भाग
9) दाक्षायनी, बुरांग(तिब्बत)- दाहिनी हथेली
10) महिषासुरमर्दिनी, कोल्हापुर- तीसरी आंख
11) भ्रामरी, नासिक- ठोड़ी
12) अंबाजी, गुजरात- दिल
13) गायत्री, पुष्कर- कलाई
14) अंबिका, भरतपुर- बायां पैर
15) सर्वशैल पूर्वी, गोदावरी- बायां गाल
16) श्रावणी, कन्याकुमारी- रीढ़ की हड्डी
17) भ्रमरांबा, कुरनूल- दाहिनी पायल
18) नारायणी, कन्याकुमारी- ऊपरी दांत
19) फुलारा, पश्चिम बंगाल- निचला होंठ
20) बहुला, पश्चिम बंगाल- बायां हाथ
21) महिषमर्दिनी, पश्चिम बंगाल- भौंहों के बीच सिर का भाग
22) दक्षिणा काली, कोलकाता- उंगलियां
23) देवगर्भा, बीरभूम- हड्डी
24) विमला मुर्शिदाबाद- मुकुट
25) कुमारी शक्ति, हुगली- कंधा
26) नर्मदा, अमरकंटक- दायां नितंब
27) नागपूशनी, श्रीलंका- पायल
28) गंडकी चंडी, नेपाल- गाल
29) महाशिरा, काठमांडू- कूल्हे
30) हिंगलाज, पाकिस्तान- सिर
31) सुगंधा, बांग्लादेश- नाक
32) अपर्णा, बांग्लादेश- बाएं पैर की पायल
33) जेसोरेश्वरी, बांग्लादेश- हथेली
34) भवानी, बांग्लादेश- दाहिना हाथ
35) महा लक्ष्मी, बांग्लादेश- गर्दन
36) श्री पर्वत, लद्दाख – दाएं पैर की पायल
37) पंच सागर,वाराणसी- निचला दाड़
38) मिथिला, दरभंगा – बायां कंधा
39) रत्नावली, चेन्नई- दायां कंधा
40) कालमाधव, अन्नुपुर- बायां नितंब
41) रामगिरि, चित्रकूट -दायां वक्ष
42) भ्रामरी, जलपाईगुड़ी- बायां पैर
43) नंदिनी, पश्चिम बंगाल- हार
44) मंगल चंडिका, पश्चिम बंगाल- दाहिनी कलाई
45) कपालिनी पुरबा, पश्चिम बंगाल- बायां टखना
46) कामाख्या, गुवाहाटी- योनि
47) जयंती, मेघालय- बायीं जांघ
48) त्रिपुरा सुंदरी, त्रिपुरा- दायां पैर
49) बिराजा, ओडिशा- नाभि
50) जय दुर्गा, झारखंड- कान
51) अवंती, उज्जैन- ऊपरी होंठ